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VSCTI, T.R. PURAM, MORENA, DIRECTOR SS YADAV MOB: 6263735890

created Jul 22nd, 01:48 by Ayaz Khan


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प्रकरण में कोई महत्‍वपूर्ण स्‍वीकृत तथ्‍य नहीं है। अभियोजन के अनुसार घटना संक्षेप में इस प्रकार है कि घटना दिनांक 08/07/2012 को दिन के समय करीब 12:00 बजे वार्ड क्रमांक 02 बण्‍डा आरक्षी केन्‍द्र बण्‍डा, जिला सागर के अंतर्गत फरियादी शैलेन्‍द्र अपने घर पर सो रहा था उसके घर के सामने माखन लोधी का पेंट डला हुआ था तो माखन लोधी की घरवाली सविता बाई गाली गलौच देती आई और बोली उसके आदमी का पेन्‍ट कौन उठा कर लाया और यहां पर डाल दिया है तो फरियादी की मां इमरतीबाई ने गाली गलौच करने से मना किया तो वह फरियादी की मां को भी गालियां देने लगी। इतने में उसने भाभी आरोपी सविता को समझाया तो भाभी आरोपी सविता ने उसके बांए हाथ की अंगुली में काट लिया जिससे उसे खून निकल आया और आरोपी सविताबाई ने कहा कि यदि रिपोर्ट करने गये तो जान से मरवा दूंगी। उक्‍त घटना मोहनी लोधी एवं हनमत राजपूत ने देखी तथा बीच बचाव किया। उपरोक्‍त घटना की प्रथम सूचना रिपोर्ट थाना बण्‍डा के अपराध क्रमांक 437/12 में पंजीबद्ध की गई। साक्षीगण के कथन लेख बद्ध किए गए। गिरफ्तारी पत्रक बनाया गया, घटना स्‍थल का नक्‍शा बनाया गया, संपूर्ण विवेचना उपरांत विचारण हेतु अभियोग-पत्र न्‍यायालय के समक्ष प्रस्‍तुत किया। प्रकरण में प्रस्‍तुत अभियोग -पत्र एवं सह-प्रपत्रों के आधार पर मेरे पूर्व विद्वान पीठासीन अधिकारी द्वारा धारा 294,324,506 भाग-2 भा. दं. वि. के अपराध के संबंध में आरोप विरचित किये जाने के पर्याप्‍त आधार पाते हुये उक्‍त धाराओं के संबंध में पृथक से आरोप विरचित किया जाकर आरोपी को पाये जाने पर आरोपी ने अपराध करना अस्‍वीकार कर विचारण की मांग की गई। आरोपी का अभिवाक् उनके शब्‍दों में लिपिबद्ध किया गया तथा प्रकरण अभियोजन साक्ष्‍य हेतु नियत किया गया। प्रकरण में फरियादी शैलेन्‍द्र का आरोपी सविताबाई से दिनांक 21/07/2017 को राजीनाम हो जाने के आधार पर आरोपी को धारा 294, 506 भाग-2 भा. दं. वि. के आरोप से दोषमुक्‍त किया जाकर शेष धारा 324 भा. दं. वि. के अपराध के संबंध में विचारण किया गया। प्रकरण में फरियादी शैलेन्‍द्र के कथन लेखबद्ध किए गए।  

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