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RAJ TYPING CLASSES ,SOUTH CIVIL LINE , JABALPUR M.P. 9589202412
created Nov 24th 2022, 11:57 by KRISHNA PRAJAPATI
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इस मामले के अभिलेख पर जो साक्ष्य आई है उससे स्पष्ट है कि सभी आरोपीगण ने एक राय होकर नगर निगम के अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही का विरोध किया तथापि उपरोक्त कार्यवाही लोक कर्तव्य के अनुक्रम में किया जाना प्रमाणित नहीं हुआ है तथापि उससे आरोपीगण को यह अधिकार नही मिल जाता है कि प्रशासनिक अधिकारियों कर्मचारियों पर हमला बोलकर उन्हें घायल करने का प्रयास किया गया और किसी भी आरोपी ने बचाव में ऐसी कोई साक्ष्य नही दी है कि नगर निगम व प्रशासन द्वारा उनके घरों को तोड़ा जा रहा था। साक्षी सुमन ने जो उक्त जिले की निवासी है, ने बताया है कि अधिकतर माल एवं मकान गैर-कानूनी है इसलिये अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही चल रही थी और उपरोक्त तथ्यों को कोई चुनौती आरोपीगण द्वारा नही दी गई है इन परिस्थितियों में आरोपीगण के द्वारा नगर निगम के अमले पर पथराव करना उससे नगर निगम के कर्मचारियों या अन्य सामान्य व्यक्तियों को चोटें पहुचाना किसी भी दृष्टि से विधिक नहीं कहा जा सकता है। आरोपीगण ने स्वयं की संपत्ति को प्रतिरक्षा का बचाव नहीं लिया है न ही साक्ष्य में कोई दस्तावेज प्रस्तुत की है इन परिस्थितियों में आरोपीगण का कृत्य अवैध व मनमाना है व उनके द्वारा सामुहिक रूप से पथराव करते हुये फरियादी व अन्य बताये गये नगर निगम कर्मचारियों को स्वेच्छया उपहित कारित करना प्रमाणित होता है जो उन्होंने विधि विरूद्ध रूप से एकत्र होकर जमाव बनाकर या जिसका एक ही सामान्य उद्देश्य अतिक्रमण तोड़ने वाले मुहिम का विरोध करना था और किसी भी हालत में उसे रोकना था और उपरोक्त विधि विरूद्ध समूह के सामान्य उद्देश्य के अग्रसरण में यह घटना कारित की इन परिस्थितियों में आरोपीगण का आचरण विधि विरूद्ध गठन करना और उसके अग्रसरण में बल या हिंसा का प्रयोग कर बलवा कारित करने के आरोप प्रमाणित करने के लिये दण्ड के प्रश्न पर अभियुक्तगण व उनके विद्वान अधिवक्ता तथा अभियोजन की ओर से अपर लोक अभियोजक को सुना गया। अभियुक्तगण की ओर से निवेदन किया गया है कि अभियुक्तगण युवा है और उनसे गलती हो गई इसलिये उनके साथ नर्मी बरती जाये ताकि सुधर सके और परिवीक्षा का लाभ देने का निवेदन किया गया है। वहीं अभियोजन की ओर उपरोक्त प्रावधानों में वर्णित अधिकतम सजा से दण्डित करने का निवेदन किया गया है उभयपक्ष के तर्क पर विचार किया गया। प्रकरण का अवलोकन किया गया इस मामले में आरोपीगण ने नगर निगम द्वारा कालोनी में अतिक्रमण को हटाने की कार्यवाही के दौरान विधि विरूद्ध जमाव कर बलवा कारित।
